Taali Trailer release: ‘ताली बजाऊंगी नहीं बजवाऊंगी’। एक सच्ची कहानी पर आधारित फिल्म ताली का यही पंचलाइन है। ताली का धमाकेदार ट्रेलर सोमवार रिलीज कर दिया गया है। फिल्म में सुष्मिता सेन (sushmita sen) एक ट्रांसजेंडर यानी किन्नर की भूमिका में नजर आएंगी। जो गणेश से गौरी (श्रीगौरी सावंत) तक का सफर तय करता है। यह फिल्म किन्नरों को उनके अधिकार और समाज में स्वीकार्यता दिलाने के संघर्ष और कानूनी लड़ाई की है। यह लड़ाई गली से कोर्ट तक जाती है और अंततः जीत एक ‘माँ’ की होती है।
ताली फिल्म की कहानी क्या है?
कहानी साधारण लेकिन रोचक है। क्योंकि यह एक सच्ची घटना पर आधारित है। यह कहानी एक ऐसे लड़के ‘गणेश’ जो आगे चलकर गौरी बन जाता है। ट्रेलर में एक दृश्य है जब स्कूल में उससे टीचर पूछती है कि तुम बड़े होकर क्या बनना चाहते हो, तो गणेश कहता है- माँ। क्लास में बैठे सभी छात्र हंसने लगते हैं और टीजर गुस्से के मारे लाल हो जाती हैं। वह कहती है- मर्द कभी माँ नहीं बन सकते है।
कहानी यहीं से दिलचस्प तरीके से आगे बढ़ती है। गणेश अपने हाव भाव में लड़कियों से व्यवहार करने लगता है और फिर एक दिन किन्नर समाज का हो जाता है। और फिर उसके संघर्ष शुरू होते हैं। सुष्मिता सेन ने इस किरदार में जान फूंक दी है।
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ट्रेलर (Taali Trailer) में गौरी बनी सुष्मिता सेन कहती हैं- ‘मैं गौरी, ये कहानी मेरे जैसे कई लोगों की है। क्योंकि ये गौरी भी कभी गणेश था। समाज में ट्रांसजेंडर को अब अपना हक मिला है, एक नई पहचान मिली है। एक वक्त था जब उन्हें सोसाइटी में कोई दर्जा नहीं दिया गया था।
‘ताली’ का ट्रेलर श्रीगौरी सावंत के जीवन की कठिनाइयों और कष्टों, गणेश से गौरी बनने के उनके साहसिक परिवर्तन और उसके कारण उनके साथ होने वाले भेदभाव; मातृत्व की ओर उनकी निडर यात्रा और पर प्रकाश डालता है। वह साहसी लड़ाई जिसके कारण भारत में प्रत्येक आधिकारिक दस्तावेज़ में तीसरे लिंग को शामिल किया गया और उसकी पहचान की गई। एक प्रेरणादायक कहानी के साथ, फिल्म विचारोत्तेजक संवादों के साथ सही तालमेल बिठाती है।
सुष्मिता यहां कई ऐसे डायलॉग्स बोलती दिख रही हैं जो दिल को छू जाते हैं। जैसे-‘जिस देश में कुत्तों तक का सेंसेस होता है पर ट्रांसजेंडर्स का नहीं! ऐसे लोगों के बीच जीना, दैट इस स्कैरी..’ एक यूजर ने लिखा, ‘यह फिल्म एक आत्मा के आत्मसम्मान, सम्मान और स्वतंत्रता को दोहराती है।’
सुष्मिता सेन ने एक बयान में श्रीगौरी सावंत के अपने सशक्त चित्रण को लेकर कहा कि, “जब मुझसे पहली बार ताली के लिए संपर्क किया गया, तो मेरे मन में तुरंत हाँ थी, हालाँकि, मुझे आधिकारिक तौर पर बोर्ड पर आने में साढ़े छह महीने लग गए। मुझे पता था मैं इस तरह की एक महत्वपूर्ण जिम्मेदारी लेने के लिए पूरी तरह से तैयार, अच्छी तरह से पढ़ा-लिखा और शोधित होना चाहता थी। श्रीगौरी सावंत एक प्रशंसनीय इंसान हैं, मैं उनसे कई पहलुओं पर जुड़ी हूं, और मैं भाग्यशाली हूं कि मुझे इसके माध्यम से, उसके अविश्वसनीय जीवन को जीने का अवसर मिला। मुझे यकीन है कि ताली एक ऐसी ताकत है जो चेतना में इस बदलाव को आगे बढ़ाने में मदद करेगी।
सच्ची घटना पर आधारित है ताली (Taali based on true story)
गणेश के रूप में जन्मीं और पुणे में पली-बढ़ीं, श्रीगौरी सावंत मुंबई की एक ट्रांसजेंडर कार्यकर्ता हैं। वह 2013 के राष्ट्रीय कानूनी सेवा प्राधिकरण (एनएएलएसए) मामले में याचिकाकर्ताओं में से एक थीं, जिसके संबंध में सुप्रीम कोर्ट ने ट्रांसजेंडर समुदाय से संबंधित व्यक्तियों को तीसरे लिंग के रूप में मान्यता दी थी। ऐतिहासिक फैसला 2014 में सुनाया गया था। ‘ताली’ 15 अगस्त को जियो सिनेमा पर स्ट्रीम होगी। इस प्रोजेक्ट के अलावा, सुष्मिता डिज्नी + हॉटस्टार के ‘आर्या सीजन 3’ में भी नजर आएंगी।